loading...

जानिए :शनिदेव को सरसों के तेल चढ़ाने के पीछें क्या है पौराणिक कथा...


नई दिल्ली: शनिवार आता नही कि हम हर शनि मंदिर में देखते है कि शनि भगवान में उनके भक्त सरसों का तेल चढ़ा रहे होते है। जिसके कारण शनि भगवान की मूर्ति सरसों के तेल से डूब जाती है।
उस समय हमारें दिमाग में यह बात जरुर आती होगी कि आखिर शनि भगवान को सरसों का तेल क्यो चढ़ाया जाता है। वो भी केवल शनिवार के दिन ही क्यों।
हिंदू धर्म के अनुसार माना जाता है कि शनि भगवान को तेल चढ़ाने से सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती है। ऐसा माना जाता है। साथ ही यह भी कहा जाता है कि अगर आापको साढ़े सती या ढय्या लगी हो तो हर शनिवार के दिन शनि मंदिर में जाकर सरसों का तेल और कालें तिल चढ़ाने चाहिए। इससे आपको शनि का कृपा मिलती है। जानिए सरसों का तेल चढ़ाने की पौराणिक कथा के बारें।
रामायण के अनुसार पौराणिक कथा
हिंदू धर्म की ग्रंथ रामायण में इस बारें में विस्तार से लिखा है। इसके अनुसार रामायण काल में एक बार शनि देव को अपने बल और पराक्रम पर घमंड हो गया था। लेकिन उस काल में भगवान हनुमान के बल और पराक्रम की कीर्ति चारों दिशाओं में फैली हुई थी। जब शनि देव को भगवान हनुमान के बारें में पता चला तो वह भगवान हनुमान से युद्ध करने के लिए निकल पड़े। जब भगवान शनि हनुमान के पास पहुचें तो देखा कि भगवान हनुमान एक शांत स्थान पर अपने स्वामी श्रीराम की भक्ति में लीन बैठे है।
loading...
loading...
loading...

Related Posts:

0 comments:

Shares
FacebookXWhatsAppSumoMe