
भारत द्वारा परमाणु क्षमता से लैस देश का पहला अंतर महाद्वीपीय बलिस्टिक मिसाइल अग्नि-5 के परीक्षण पर चीन ने काफी नरम रुख दिखाया है। आपको बता दें कि कल भारत ने अंतर से सतह तक मार करने में सक्षम और परमाणु क्षमता से लैस स्वदेशी बैलिस्टिक मिसाइल ‘अग्नि-5’ का ओड़िशा तट से दूर व्हीलर द्वीप से सोमवार को सफल परीक्षण किया। अग्नि-5 मिसाइल का ये चौथा परीक्षण है।
भारत की अंतरमहाद्वीपीय और परमाणु आयुध ले जाने में सक्षम बैलिस्टिक मिसाइल ‘अग्नि-5’ की मारक क्षमता लगभग 6000 किलोमीटर है। चीन के विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता हुआ चुनयिंग ने कहा, ‘भारत और चीन प्रतिद्वंदी नहीं बल्कि साझीदार हैं।’
‘अग्नि-5’ मिसाइल लगभग 6000 किलोमीटर तक कि दूरी के लक्ष्य को भेदने में सक्षम है। यह एक टन से अधिक वजन के परमाणु आयुध को ले जा सकती है और इससे यूरोप को भी निशाना बनाया जा सकता है। अग्नि श्रृंखला की अन्य मिसाइलों के अलग ‘अग्नि-5’ सबसे आधुनिक मिसाइल है। भारत के पास फिलहाल अग्नि 1, अग्नि 2, अग्नि 3, अग्नि 4 मिसाइल हैं और ब्रह्मोस जैसी सुपरसोनिक क्रूज मिसाइल भी हैं। अग्नि 1 की रेंज 700 किलोमीटर, अग्नि 2 की रेंज 2000 किलोमीटर, अग्नि 3 और अग्नि 4 की रेंज 2500 किलोमीटर से 3500 किलोमीटर तक है।
आज ‘अग्नि-5’ मिसाइल के सफल परीक्षण के बाद भारत 5000 किलो मीटर की मारक क्षमता की मिसाइल रखने वाला अमेरिका, रूस, चीन, फ्रांस और ब्रिटेन के बाद पांचवां देश हो गया है।
रक्षा अनुसंधान एवं विकास संगठन (डीआरडीओ) ने ओडिशा के व्हीलर आइलैंड पर इंटरकॉन्टिनेंटल बैलिस्टिक मिसाइल अग्नि-5 का परीक्षण किया। इस मिसाइल के दायरे में चीन के आने की वजह से इस परिक्षण को रणनीतिक तौर पर बेहद खास माना जा रहा है। न केवल पाकिस्तान या चीन इसकी रेंज में आ गए हैं बल्कि इस मिसाइल से यूरोप तक को निशाना बनाया सकता है। ये मिसाइल आईसीबीएम तकनीक पर आधारित है जो इससे पहले केवल अमेरिका, रूस, फ्रांस और चीन के पास थी।
Like Our Facebook Fan Page
Subscribe For Free Email Updates

0 comments: