
नई दिल्ली: दिल्ली कांग्रेस के पूर्व अध्यक्ष अरविंदर सिंह लवली बीजेपी में शामिल हो गए हैं. बीजेपी में शामिल होने के बाद लवली ने कांग्रेस को डेड पार्टी बताया है. लवली कल बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह और प्रदेश अध्य़क्ष मनोज तिवारी की मौजूदगी में शामिल हुए थे.
कांग्रेस एक डेड पार्टी- लवली
अरविंदर सिंह लवली ने कांग्रेस नेतृत्व पर निशाना साधते हुए कहा है, ‘’कांग्रेस पार्टी खत्म हो रही है. कांग्रेस अब पहले जैसी नहीं रही.’’ उन्होंने कहा, ‘’कांग्रेस के घोषणापत्र का भी मुझे अचानक पता चला और मुझे बुलाया भी नहीं गया. जहां आत्म सम्मान ही नहीं वहां कैसे रहा जा सकता है.’’
शीला दीक्षित के नेतृत्व वाली सरकार में प्रमुख मंत्रियों में शामिल रहे लवली ऐसे समय में बीजेपी में शामिल हुए हैं जब एक सप्ताह बाद ही दिल्ली में एमसीडी चुनाव होने हैं.
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कांग्रेस में कुछ नेताओं का घुट रहा है दम- लवली
लवली ने कहा कि पार्टी खत्म हो गई है. उन्होंने कांग्रेस के वरिष्ठ नेता ए के वालिया की तरफ से एमसीडी चुनाव में टिकट बेचे जाने के आरोप के विषय को उठाया. उन्होंने कहा, ‘’किसी ने इन शिकायतों पर ध्यान नहीं दिया. कांग्रेस के कई नेताओं का पिछले दो सालों से पार्टी में दम घुट रहा है.’’
लवली गद्दार हैं- शीला दीक्षित
लवली के बीजेपी में शामिल होने के बाद पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस की वरिष्ठ नेता शील दीक्षित ने लवली के इस कदम को गद्दार करार दिया है. उन्होंने कहा, ‘’लवली बीजेपी से सख्त नफरत करते थे. मुझे आश्चर्य है कि उन्होंने बीजेपी ज्वॉइन की.’’
कौन हैं अरविंदर सिंह लवली
अरविंदर सिंह लवली दिल्ली कांग्रेस के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष हैं और पिछला विधानसभा चुनाव कांग्रेस ने लवली के नेतृत्व में ही लड़ा था. अरविंदर सिंह को दस जनपथ के भी बेहद करीब माना जाता था. लवली पूर्व सीएम शीला दीक्षित के बेहद करीबी और शीला सरकार में मंत्री भी रहे हैं. लवली दिल्ली की गांधी नगर सीट से विधायक रहे हैं.
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एमसीडी में कांग्रेस को हो सकता है नुकसान
अरविंदर सिंह लवली को कांग्रस में एक बड़े सिख चेहरे के तौर पर जाना जाता था. कांग्रेस अमरिंदर सिंह लवली का प्रयोग पंजाब समेत जहां भी सिख समुदाय का वोट है वहां प्रचार के लिए इस्तेमाल करती थी. अब उनके बीजेपी में शामिल होने के बाद कांग्रेस के सिख वोट में सेंध लगने की संभावनाएं बढ़ गईं हैं.
शीला दीक्षित पहले ही कांग्रेस के लिए प्रचार नहीं कर हैं ऐसे में लवली का पार्टी छोड़ना एक बड़ा झटका है. कांग्रेस पहले ही पांच राज्यों में प्रदर्शन के बाद दिल्ली एमसीडी में करो या मरो की स्थिति के साथ मैदान में है.
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