
नई दिल्ली - : एक बार नोटबंदी का झटका खाने के बाद भी काले धन के खिलाड़ी बाज नहीं आ रहे हैं। बाजार से दिनोंदिन 2000 रुपये के नोट गायब होते जा रहे हैं। आरबीाई ने संकेत दिये हैं कि अगर पचास फीसदी से ज्यादा दो हजार के नोट सिस्टम से गायब हुए तो फिर से पुरानी दवाई दी जा सकती है। हालांकि ऐसा कोई कदम उठाने से पहले हर स्तर से यह ताकीद कर लिया जाएगा कि सिस्टम से गायब हुए बड़े नोटों की वापसी खत्म हो चुकी है।
# नोटबंदी के बाद अब तक रिजर्व बैंक की ओर से जारी हुए रुपये और बंद हो चुके नोटों की वापसी की जानकारी सार्वजनिक नहीं की गई है। जाहिर है कि फिर से नोटबंदी जैसा कोई फैसला बिना किसी ठोस आकलन के संभव ही नहीं है। लेकिन कानपुर के रिजर्व बैंक के क्षेत्रीय कार्यालय के आंकड़ों ने थोड़ी हलचल मचा दी है। कानपुर में नवंबर 2016 में 2000 रुपये के नोट जारी हुए थे।
# तब से लेकर आरबीआइ अभी तक कानपुर की सभी करेंसी चेस्ट को करीब 6,000 करोड़ रुपये मूल्य के दो हजार रुपये के नोट जारी कर चुका है। मार्च तक बैंकों में 2000 रुपये के नोट जमा होने की गति ठीक रही लेकिन बाजार से दो हजार रुपये के नोट गायब होने लगे। इसके बाद बैंक में दस, बीस, 50 और 100 रुपये के नोट अधिक जमा हो रहे हैं। हालांकि वित्त मंत्रलय के सूत्रों का कहना है कि ये आंकड़े सिर्फ एक क्षेत्र के हैं। देश के बाकी क्षेत्रों में भी ट्रेंड देखने पर स्थिति स्पष्ट हो सकती है।
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