नोटबंदी के बाद देशभर में सियासी घमासान मचा हुआ है. सरकार के 500 और 1000 रुपये के नोट बंद करने से देश की सवा सौ करोड़ जनता पर असर हुआ है. पूरा देश लाइन में खड़ा है, लेकिन किसी ने उफ तक नहीं की. आज देश में आर्थिक क्रांति छिड़ी हुई है. लेकिन आम जनता मोदी जी का साथ छोड़ने को तैयार नहीं. विपक्षी नेता लोगों को भड़काने में जुटे हैं, लेकिन कोई फायदा नहीं. सबके मन में यही है कि अगर भविष्य सुंदर बनाना है, तो इस समय थोड़े कष्ट सहने ही होंगे. नोटबंदी पर विपक्ष ने बवाल मचा रखा है, ऐसा लगता है जैसे सबसे ज्यादा कालाधन उन्ही के पास है ।
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ऐसे में ममता बनर्जी ने 28 नवम्बर को भारत बंद करने का ऐलान लिया. लेकिन आम जनता इसका विरोध कर रही है. आम जनता अपने अपने तरीके से भारत बंद का विरोध कर रहे है. ऐसी ही एक मिसाल हमारे सामने आई है जो कर्णाटक के बसरूर गाँव की है. कर्णाटक में कांग्रेस सरकार है फिर भी इस छोटे से दुकानदार ने विरोधियो को 440 वाट का झटका दिया है । इस गाँव में लोगों ने अपनी दुकानों के आगे एक पोस्टर लगा लिया है जिसमे लिखा है कि “हम भारत बंद का विरोध करते है, क्यूंकि ये भ्रष्ट नेताओं की चाल है.”
पोस्टर में यह भी लिखा है कि हम इसका विरोध कर रहे है क्यूंकि हमारे गाँव में कोई भी भ्रष्ट नहीं है. सभी इमानदारी से काम करते है. भले ही हमे थोड़ी तकलीफ हो रही हो, लेकिन हम मोदी जी के साथ है. यह हमारे भविष्य के लिए उचित फैसला है. हम केंद्र सरकार की इस लड़ाई में सरकार के साथ है ।
हम इस गाँव के लोगों को सलाम करते है. ऐसी सोच हर एक नागरिक की हो ऐसी कामना करते है ।
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