नोटबंदी के बाद हुए दोनो निकाय चुनावों में जनता ने मोदी जी का साथ दिया है। गुजरात के स्थानीय निकाय उपचुनाव परिणाम ने भाजपा को बड़ी जीत दिला दी वहीं कोंग्रेस को बिलकुल साफ़ कर दिया है भाजपा ने ज़बरदस्त जीत हासिल करते हुए 125 में से 109 सीटें जीतने में सफलता पायी है। इस प्रकार देखा जाए तो कांग्रेस का तो सूपड़ा ही साफ हो गया है। बता दें कि ये सीटें जिला पंचायत, तहसील पंचायत और नगरपालिका के उपचुनाव की थी। इस जीत के बाद BJP कार्यकर्ताओं का उत्साह बढ़ा है और पार्टी ने इसे नोटबंदी पर जनता का समर्थन करार दिया है। वैसे स्थानीय चुनाव लोकल मुद्दों पर लडे जाते हैं लेकिन पैसों से जुड़ा कोई भी मुद्दा सबको प्रभावित करता ही है।
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कांग्रेस का इतना बुरा हाल हुआ कि जहाँ इन सभी सीटों में से उनकी 52 सीटें थी अब घटकर हो गईं 16 रह गयी हैं । वहीं दूसरी और भाजपा की सीटें इससे पहले इन स्थानों पर 64 थीं, जो अब बढ़कर 109 हो गई हैं। गुजरात में स्थानीय निकाय के इस उपचुनाव में कुल 125 सीटे थी। BJP ने सूरत में कुल 28 में से 27 सीटें जीत लीं। जबकि कांग्रेस को सिर्फ एक सीट ही नसीब हो सकी कोंग्रेस के लोग चाहें तो इसको राहुल गांधी की जीत बता सकते हैं। वहीं वापी में कुल 44 में से 41 सीटों पर भाजपा ने विजय प्राप्त की है ।
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बताते चलें कि नोटबंदी के बाद हुए लोकसभा उनचुनाव हों और विधानसभा के उपचुनाव सभी में भाजपा का पलड़ा भारी रहा। वहीं महा राष्ट्र के निकाय चुनावों में भी भाजपा ने बाज़ी मारी है उसके बाद अब गुजरात की इन 125 सीटों में से 109 जीतकर भाजपा ने विपक्ष को बता दिया है कि जितना मोदी विरोध करोगे उतना नीचे गिरते जाओगे ।
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