किसी गांव या शहर में एक या दो जोड़े जुड़वा बच्चें हो तो, ये कोई हैरानी वाली बात नहीं लेकिन किसी गांव में अगर पैदा होने वाले सभी बच्चे ही जुड़वा हो तो शायद ये बात हैरान कर सकती है। कोडिन्ही गांव अपनी खास वजह से पहचान बनाए हुए है। इस गांव में सबसे ज्यादा जुड़वा बच्चे पैदा होते हैं। ऐसी मान्यता है कि इस गांव में रहने के दौरान आप जुड़वा बच्चे ही पैदा करेंगे, और निकलते ही सबकुछ ठीक हो जाएगा।
अरब सागर के तट से 18 किलोमीटर की दूरी पर केरल के मल्लापुरम जिले में बसा है कोडिन्ही गांव। इस इलाके की अपनी एक अलग पहचान है, यहां जुड़वां बच्चे पैदा होने का चलन आम है। नन्नाबरा पंचायत के इस इलाके में दशकों से जुड़वां बच्चे ही पैदा हो रहे हैं। और स्थानीय लोगों की मानें तो जुड़वां बच्चों की संख्या बढ़ती ही जा रही है।
दो हजार की आबादी वाला ये गांव अब अंतरराष्ट्रीय नक्शे पर है क्योंकि विभिन्न देशों से शोधकर्ता यहां आकर जुड़वां बच्चों के पैदा होने का रहस्य पता लगाने की कोशिश कर रहे हैं। वैसे तो यह मुस्लिम बहुल इलाका है। मगर दूसरे समुदायों की संख्या भी 20 प्रतिशत है जिसमें अनुसूचित जनजाति के लोग भी शामिल हैं।
कोडिन्ही और उससे लगे कोट्टेकल के इलाके में काम कर चुके विशेषज्ञ डॉक्टर का कहना है कि इस इलाके में जुडवां बच्चों के 400 जोड़ों की पहचान की गई है। इनमें सबसे उम्र दराज 64 साल के बुजुर्ग से लेकर 6 महीने के बच्चे भी शामिल है।
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